Suhana Safar Shayari – Safar Shayari in Hindi With Image
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Suhana Safar Shayari
“ज़िंदगी के सफर में हिंदी वाला “सफर” करते रहिये, वर्ना अंग्रेजी वाला “Suffer” तो लगा ही रहेगा।“
“अजीब सा सफर है ये ज़िंदगी, मंज़िल मिलती है मौत के बाद।”
Safar Shayari
क्या खूब सफर है ये ज़िंदगी, हर रोज़ वही सुबह और वही शाम, फिर भी हर रोज़ का सवेरा नया लगता है।
सफर करने से ज़िंदगी का अनुभव बढ़ता है।
लोग चाहे जितना भी करीब हो, लेकिन हर कोई अकेला है ज़िंदगी के इस सफर में।
ज़िंदगी के इस सफर में रिश्तों का बोझ जितना कम हो, सफर उतना आसान हो जाता है।
ज़िंदगी के इस सफर में रिश्तों का बोझ जितना कम हो, सफर उतना आसान हो जाता है।
Safar Shayari in Hindi
नई चीज़ों से रु ब रु होना चाहते है तो एक बार अकेले सफर पर निकलें।
ज़िंदगी के सफर में हूँ लेकिन मानो कहीं गहरे पानी सा ठहरा सा हूँ।
वो मंजिल ही क्या जिसके रास्ते में मजा न हो।
ख्वाहिश इतनी है कि मंजिल मिल जाए मौत से पहले।
Suhana Safar Shayari
कितने दुख हैं इस जीवन में, पर सफ़र पर निकल के देखो कितनी खुशियां हैं।
उम्र बिना रुके चली जा रही है, लगता है सफ़र लम्बा है।
ज़िन्दगी के सफ़र में सबको साथ लेकर चलते रहो, वरना ज़िन्दगी अफ़सोस से भरी रहेगी।
ये रास्ता मुझे समझ नहीं आता, मुसाफ़िर हूँ मैं और मंजिल का कुछ पता नहीं।
ये रास्ते कहां तक हैं इनका कोई किनारा क्यों नहीं दिखता, इस तन्हाई में कोई सहारा क्यों नहीं दिखता।
अब घर में मैं मेहमान हो गया हूँ, रोज़ आता जाता हूँ, यूही लगता है अब बेघर हो गया हूँ मैं।
ये सफ़र है, लगता है अब मेरा कोई घर नहीं, ताउम्र सफ़र में बिता दी ज़िंदगी मैने, अब लगता है कि सफ़र का हि हूँ मैं।
ख्वाहिश में मेरी केवल इतना गम है, कि मैं तेरी यादो के सहारे सफ़र में चलता जा रहा हूँ।
किसी को मंज़िल की भूख है तो किसी
को पैसों की प्यास है पर सच कहूँ तो
मेरे लिए ये सफर ही ख़ास है।
चल वहीं ऐ दिल जहाँ हमसफर है मेरा,
ये अजनबी रास्ते वो आखिरी सफर है तेरा।
सफर में संभल कर चलने वाले काफी मिल
जाएंगे मैं तो इन सड़कों पर दौड़ना चाहता हूँ।
मशहूर हो जाते हैं वो जिनकी हस्ती
बदनाम होती है कट जाती है जिंदगी
सफ़र में अक्सर जिनकी मंजिलें
गुमनाम होती हैं.
पांव जमीन पर थे आसमान नजर में
रहा निकला था मंजिल के लिए लेकिन
उम्र भर सफ़र में रहा.
ना मंजिलों के लिए ना ही रास्तों के
लिए मेरा ये सफर है खुद से खुद की
पहचान के लिए.
सफ़र का मज़ा लेना है तो सामान
कम रखिए,जिंदगी का मज़ा लेना है
तो अरमान कम रखिए।
कुछ सपने पूरे करने हैं कुछ मंजिलों
से मिलना है अभी सफर शुरू हुआ है
मुझे बहुत दूर तक चलना है.
तराश रहा हूं खुद को हर शब्द की
नोक पर, बोलबच्चन से लेखक तक
का सफर जो तय करना हैं।
एक सफर वो भी है जिसमें,
पैर नहीं दिल दुखता है।
ये भी है कि मंजिल तक पहुंचे नहीं
हैं हम, ऐसा भी नहीं है कि सफर
ख़त्म हो गया।
किसी को घर से निकलते ही मिल
गई मंज़िल कोई हमारी तरह उम्र
भर सफ़र में रहा.
रस्ते कहाँ खत्म होते हैं जिंदगी के सफर में,
मंज़िल तो वही है जहां ख्वाहिशें थम जाएँ।
कुछ सफर मंज़िल से ज्यादा खूबसूरत
होते हैं, कुछ मोहब्बतों का अधूरा रह
जाना ही मजा है।
इन अजनबी सी राहों में, जो तू मेरा
हमसफ़र हो जाये,बीत जाए पल भर
में ये वक़्त, और हसीन सफ़र हो जाये.
Suhana Safar Shayari
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